1/05/2009
वीणापाणी टू चाइना......................
जी हाँ आज वीणापाणी आपको ले जा रहा हैं चीन,अभी तक चांदनी चौक टू चाइना रिलीज़ नही हुई ,पता नही मूवी कैसी हैं ? संगीत भी मैंने नही सुना । पर क्या आप में से किसी ने भी चीनी संगीत सुना हैं ?क्या आप जानते हैं भारतीय संगीत की तरह ही चीन का भी संगीत हैं ,चीनी संगीत । युवो .....अरे मै नही युवराज मूवी का शीर्षक लिख रही हूँ ,नही किसी का नाम ,युवो अर्थात चीन का संगीत ,जी चीन में संगीत के लिए युवो ही शब्द हैं ,इस शब्द का अर्थ हैं पवित्रता .चीन में संगीत को बहुत पवित्र दर्जा प्राचीनकाल से ही प्राप्त हैं ,महान दार्शनिक कनफ्यूशस संगीत की महत्ता बताते हुए कहते हैं "अच्छे संस्कार कविता से बनने प्रारम्भ होते हैं ,शालीनता के नियमो से दृढ़ होते हैं ,और संगीत के द्वारा पूर्णता को प्राप्त होते हैं । "
संगीत के स्वरों को चीन में ल्यु कहा जाता हैं ,चीनी संगीत का स्केल पॉँच स्वरों ...कुंग,शेंग,चिओओ चिह ,तथा यु का होता था ,जो भारतीय संगीत के भूपाली राग के स्वरों सा, ,रे, ग, प, ध से मिलता हैं ,इन स्वरों का सबंध सम्राट शुन ने ऋतू ,तत्व ,वर्ण ,दिशा और ग्रहों से भी जोड़ा ,। यह बात और भी गौरव पूर्ण लगेगी की भारतीय भिक्षु चीन जाते थे ,और वहां चीनी लोगो को उपदेश देते थे ,वहां इन भारतीय भिक्षुओ ने "चिन" नमक वाद्य को अपनाया ,पर इस चीन के 'चिन' वाद्य को भारतीय तरीके से बजाकर प्रचारित किया । इस वाद्य पर उन्होंने गमके बजाई और चीनी संगीत को उन्नत किया । एक तुर्की संगीतज्ञ ने अपने देश के सातों स्वरो का समावेश तुर्की संगीत में किया , किंतु प्राधान्य वहां पॉँच स्वरों के स्केल का ही रहा हैं । संगीत का रूप बहुत सरल हैं यहाँ का संगीत शांति का भाव लिए हुए हैं । नही तो भारतीय संगीत की तरह पूर्ण आध्यात्मिक भाव हैं ,नही पश्चिमी संगीत की तरह भौतिक ,चिन का संगीत शांत हैं ,सरल हैं सहज हैं ,किंतु बहुत सुंदर हैं .
चीनी संगीत पर पाश्चात्य संगीत का बहुत प्रभाव पड़ा हैं ,किंतु पारंपरिक चीनी संगीत को संरक्षित करने के उपाय भी किए जा रहे हैं । चीनी संगीत में कई सुमधुर ध्वनी प्रदान करने वाले वाद्यों का समावेश भी हैं जिनका विस्तृत विवरण अगली किसी पोस्ट में. फिलहाल सुनिए चीनी वाद्य शेंग पर श्री ng Cheuk -yin का वादन .
इति
वीणा साधिका
राधिका
सन्दर्भ : "संगीत "
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
चीनी संगीत के बारे में थोड़े में ही ज़्यादा बताने का आभार.
ReplyDeleteयह तो नयी जानकारी है...
ReplyDeleteराधिका जी ,नव वर्ष की आप को और आप के परिवार में सभी को ढेर सारी शुभ कामनाएं .
हर दिन संगीतमय गुनगुनाता रहे...
*****sunder jankari
ReplyDeleteबहुत बढ़िया जानकारी नववर्ष की बधाई
ReplyDeleteचीनी फ़िल्मो का संगीत वाकई बड़ा शानदार होता है.. एक फिल्म है शाउलिन शॉकर, उस फिल्म के गाने मुझे पसंद है..
ReplyDeleteनये साल में आपके ब्लॉग का नया ले आउट बहुत सुंदर है
चीनी "युवो" के बारे मेँ पहली बार ही ये सब पढा राधिका जी शुक्रिया एक अछूते विषय पर बहुत सुँदर पोस्ट लिखी आपने मन को बहुत भाया
ReplyDeleteस-स्नेह,
- लावण्या
चीनी संगीत के बारे में हो सके तो और लिखियेगा. वहां का जो संगीत फिल्मों में सुने पड़ता है बहुत आकर्षित करता है.
ReplyDeleteराधिका बुधकर जी
ReplyDeleteनमस्कार
वीणापानी टू चाइना के माध्यम से आपने
अल्प ही सही लेकिन महत्वपूर्ण जानकारी
से अवगत कराया है .
आपका
विजय
बहुत अच्छी जानकारी रही....धन्यवाद
ReplyDeletevery nice... congrats...
ReplyDeletekulwant singh
http://kavikulwant.blogspot.com
पता नहीं क्यों पर संगीत बजा नहीं, कोई और प्लेयर पर भी कोशिश कीजिये ना।
ReplyDeleteजानकारी बढ़िया लगी।
बहुत खूब एक नए संगीत और संस्कृति के बारे में जान कर ख़ुशी हुई। नव वर्ष की हार्दिक शुभकामनाएं।
ReplyDeleteराधिका जी, चीनी पर संगीत बहुत बढ़िया जानकारी....धन्यवाद
ReplyDeleteWah..wa
ReplyDeletesundar jaankari diya hai,aapne,iske liye,dhanyawaad.
ReplyDeleteआपकी संगीत साधना का पथ
ReplyDeleteनिरंतर प्रशस्त हो...मंगल कामनाएँ.
ब्लाग का यह रूप मनोहारी
और प्रस्तुति ज्ञानवर्द्धक है.
==========================
डॉ.चन्द्रकुमार जैन
बहुत बढ़िया जानकारी शुक्रिया एक अछूते विषय पर बहुत सुँदर पोस्ट लिखी
ReplyDeletenice post congratulation to u
ReplyDeleteआपका ब्लॉग जानकीरियों का पिटारा और संगीत की सार्वभौमिकता दोंनो को बेहतरीन समावेश है.....मेरी यह पहली आपके ब्लॉग की यात्रा है निरंतर आने की आर्ज़ू है शायद आ सकूं....बधाई एक स्वस्थ और पूर्ण लेख के लिए.......
ReplyDeleteचीनी संगीत के बारे में जानकारी देने के लिये आभार ।
ReplyDeletebahot hi badhiya jaankari raadhika ji..dhero badhai aapko...
ReplyDeleteregards
arsh
राधिका जी,
ReplyDeleteआपका ब्लॉग बहुत आकर्षक है यह कहना मुझे उतना अच्छा नहीं लग रहा जितना यह कहना कि इसमें जो समाहित है, निहित है वह उससे कही ज्यादा खूबसूरत और आकर्षक है । आपके सार्थक प्रयास अवश्य सफल हों, ऐसी मेरी शुभकामना है ।
bahut sunder blog hai aapkaa sangeet ke baare me adhik jaankari to nahi hai par aapke maadhyam se ho jaayegi dhnyvaad
ReplyDelete